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(DINK) डिन्क हाउसहोल्ड्स: दो आय कोई बच्चा नही और अधिक खर्च की आज़ादी

DUAL INCOME, NO KIDS (DINK)डुअल इनकम, नो किड्स (दो आय, बिना बच्चों के) 

ऐसे घर को कहते हैं जहां दो लोग कमाई करते हैं और उनके कोई बच्चे नहीं होते। ऐसे घरों में अक्सर अधिक डिस्पोजेबल इनकम होती है क्योंकि बच्चों से जुड़े खर्च नहीं होते।

डिंक अक्सर निवेश उत्पादों और लग्ज़री आइटम्स के विपणन प्रयासों के लक्ष्य होते हैं क्योंकि उनके पास आमतौर पर अधिक डिस्पोजेबल इनकम होती है।

डिंक की कई परिस्थितियां हो सकती हैं जैसे नए जोड़ेऔर अन्य बच्चों रहित जोड़े।

बच्चे पालने पोषण में काफी खर्च आता है। इसलिए बिना बच्चों के रहने से काफी पैसे की बचत हो जाती है।

दो आय वाले परिवारों में अधिक डिस्पोजेबल इनकम होती है जिससे वे अधिक बचत और निवेश कर सकते हैं।

(FAQ) अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न:

  1. डिन्क क्या है?

डिन्क का पूरा नाम “डुअल इनकम, नो किड्स” है। यह एक ऐसे घर को कहते हैं जहां दो लोग कमाई करते हैं और उनके कोई आश्रित बच्चे नहीं होते।

  1. डिन्क जीवन शैली

डिन्क जीवन शैली में अधिक समय और वित्तीय साधन होते हैं। बिना बच्चों के रहने से अधिक डिस्पोजेबल इनकम होती है जिससे वे अधिक खर्च और बचत कर सकते हैं।

  1. डिन्क को लक्षित करने वाला विपणन (Marketing)

दिनक अक्सर निवेश उत्पादों और लग्ज़री आइटम्स के विपणन का लक्ष्य होते हैं क्योंकि उनके पास अधिक डिस्पोजेबल इनकम होती है।

  1. डिन्क होने की परिस्थितियां

डिन्क की कई परिस्थितियां हो सकती हैं जैसे नए जोड़े, खाली घोंसले, जो बच्चे नहीं चाहते और जो बच्चे नहीं कर सकते।

  1. बच्चा पालने का खर्च

बच्चा पालने पोषण में काफी खर्च आता है।

  1. डिन्क कौन हैं?

यदि दो वयस्क घर के सदस्य कमाई कर रहे हैं और उनके कोई बच्चे नहीं हैं तो वे डिन्क माने जाते हैं।

डिंक (दो आय, बिना बच्चों के) के बारे में फायदे और नुकसान:

फायदे:

  1. अधिक डिस्पोजेबल इनकम – बच्चों से जुड़े अतिरिक्त खर्च न होने से अधिक पैसा बचत और खर्च के लिए उपलब्ध होता है।

 

  1. कम आवास खर्च – बिना बच्चों के कम जगह की ज़रूरत होती है, इससे आवास पर होने वाला खर्च कम हो जाता है।

 

  1. अधिक निवेश की क्षमता – बचत और निवेश पर अधिक धन खर्च किया जा सकता है।

 

  1. कम तनाव – बच्चों की ज़िम्मेदारी न होने से जीवन में कम तनाव रहता है।

नुकसान:

  1. सामाजिक अकेलापन – कई बार लोग डिंक को अकेला और आत्म-केंद्रित मानते हैं।

 

  1. बुढ़ापे में सहारा – बच्चे न होने से बुढ़ापे में कोई सहारा नहीं मिल पाता।

 

  1. पालन-पोषण अनुभव की कमी – कई लोग बच्चों को पालने का अनुभव जीवन का महत्वपूर्ण हिस्सा मानते हैं।

 

  1. सामाजिक दबाव – परिवार और समाज से बच्चे न होने पर दबाव आ सकता है।

डिन्क जीवनशैली का इतिहास और इसे अपनाने के कारण

डिन्क जीवनशैली की शुरुआत:

– 1980 के दशक में “युप्पी” (यंग अर्बन प्रोफेशनल) कपल्स के लिए इस शब्द का प्रयोग हुआ।

– तलाक दर में कमी और महिलाओं की बढ़ती कमाई क्षमता के कारण यह लोकप्रिय हुआ।

इस जीवनशैली को अपनाने के कारण

  1. व्यक्तिगत स्वतंत्रता-– करियर पर ध्यान केंद्रित करने और यात्रा करने की स्वतंत्रता।
  1. वित्तीय स्थिरता-– बच्चों से जुड़े खर्चों से बचने से अधिक बचत और निवेश की क्षमता।
  1. कम तनाव-– बच्चों की ज़िम्मेदारी से मुक्ति और कम तनाव वाला जीवन।
  1. रिश्तों पर ध्यान-– पार्टनर के साथ गहराई से जुड़ने और रिश्तों को निभाने का अधिक समय।
  1. पर्यावरणीय चिंताएं-– कुछ लोग अपने बच्चों के पर्यावरण पर पड़ने वाले प्रभाव को लेकर चिंतित रहते हैं।

इन कारणों से कई नवयुगीन जोड़े आज डिंक जीवनशैली को चुन रहे हैं।

भारत में डिन्क (डुअल इनकम, नो किड्स) के प्रभाव

  1. वित्तीय स्वतंत्रता– भारत में दिन्क जोड़ों के पास अधिक वित्तीय स्वतंत्रता होती है। वे अपनी आय का अधिकांश भाग खर्च और बचत पर खर्च कर सकते हैं।
  1. जीवनशैली विकल्पों में वृद्धि– दिन्क बेहतर घर, कार और छुट्टियों का आनंद ले सकते हैं। उनके पास जीवनशैली के अधिक विकल्प होते हैं।
  1. करियर पर ध्यान– बच्चों की जिम्मेदारी न होने से, दिन्क अपने करियर पर अधिक ध्यान केंद्रित कर सकते हैं।
  1. कम तनाव– भारतीय पारिवारिक और सामाजिक मानदंड बहुत मजबूत होते हैं। दिन्क होने से इनसे मुक्ति मिल सकती है।
  1. वृद्धावस्था में चुनौतियाँ– भारत में वृद्धावस्था की देखभाल बच्चों पर निर्भर करती है। दिन्क को इसमें परेशानी हो सकती है।

इस जीवन शैली का भारतीय आबादी पर प्रभाव:

  1. जन्म दर में कमी
  • डिन्क जोड़ों में बच्चे न होने से जन्म दर में कमी आएगी।
  1. बुजुर्गों की बढ़ती आबादी
  • बच्चे न होने से भविष्य में बुजुर्गों का अनुपात बढ़ेगा।
  1. परिवार का आकार छोटा
  • परिवारों का आकार छोटा होगा और एकल सदस्यीय परिवार बढ़ेंगे।

भारत सरकार द्वारा उठाए जाने वाले कदम:

  1. जागरूकता अभियान
  • परिवार नियोजन के प्रति लोगों को जागरूक करें।
  1. बेहतर बुजुर्ग सुविधाएं
  • बुजुर्गों की देखभाल के लिए सरकारी सुविधाओं में सुधार करें।
  1. तनाव प्रबंधन
  • एकल लोगों के लिए तनाव प्रबंधन और काउंसलिंग सुविधाएं।
  1. कर लाभ
  • बच्चे पैदा करने पर कर छूट जैसे प्रोत्साहन दें।

इन कदमों से जनसांख्यिकीय चुनौतियों से निपटने में मदद मिलेगी।

 

डिन्क(डुअल इनकम, नो किड्स) जीवनशैली का अनुसरण करने वाले देश:

  1. अमेरिका
  • अमेरिका में लगभग 22% परिवार दिन्क के अंतर्गत आते हैं। व्यस्त जीवनशैली और वित्तीय स्वतंत्रता इसके पीछे कारण हैं।
  1. कनाडा
  • कनाडा में भी 25% से अधिक नवविवाहित जोड़े दिन्क जीवनशैली को अपना रहे हैं।
  1. ऑस्ट्रेलिया
  • ऑस्ट्रेलिया में भी बढ़ती महिला सशक्तीकरण और व्यस्त जीवनशैली के कारण दिन्क परिवारों की संख्या बढ़ रही है।
  1. ब्रिटेन
  • ब्रिटेन में भी 25% से ऊपर के परिवार दिन्क की श्रेणी में आते हैं, जो एक उल्लेखनीय आंकड़ा है।

इन देशों के अलावा जापान, दक्षिण कोरिया, सिंगापुर और यूरोपीय देशों में भी दिन्क परिवारों की संख्या तेज़ी से बढ़ रही है।

 

भारतीय परिप्रेक्ष्य से देखें तो डिन्क के कुछ फायदे और नुक़सान हैं। लेकिन अभी भी काफी लोग इस जीवनशैली को अपना रहे हैं।

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